आपके लिए पेश है महाशिवरात्रि पर निबंध हिंदी में (mahashivratri essay in hindi) इस निबंध में महाशिवरात्रि की काफी सारी जानकारी दी गयी है।
आप महाशिवरात्रि निबंध हिंदी PDF (mahashivratri nibandh) फाइल डाउनलोड भी कर सकते है बिना इंटरनेट के पढ़ने के लिए।
महाशिवरात्रि हिंदी निबंध
प्रस्तावना : जितनी आस्तिकता हमारे भारतवासियों में है, उत्तनी किसी और देश में नहीं है। भारतवर्ष के हिन्दू लोग अपने तैंतीस करोड़ देवी-देवताओं को पूजते हैं और उन सब देवी-देवताओं में भगवान शिव का स्थान सर्वोपरि हैं। 'शैव” नामक सम्प्रदाय शिव-भक्तों ने ही चलाया था। लोग शंकर भगवान को अनेक नामों जैसे, भोले नाथ, त्रिनेत्र, पार्वतीनाथ, शंकर, पशुपतिनाथ से पुकारते हैं तथा उनकी पूरा श्रद्धा तथा विश्वास से पूजा-अर्चना करते हैं।
भगवान शिव की महिमा : भगवान शिव की अपरम्पार महिमा अवर्णनीय हैं। शिव पुराण के आधार पर भगवान शिव ही सभी जीव-जन्तुओं के स्वामी तथा पालन-हार माने जाते हैं। संसार के सभी जीव-जन्तु भगवान शिव की इच्छानुसार ही तो कार्य-व्यापारक करते हैं। शिव पुराण में यह भी कहा गया है कि भोलेनाथ छह महीनों तक कैलाश पर्वत पर तपस्या करते हैं तथा उस समय सभी कीट-पतंग भी अपने बिलों में प्रवेश कर लेते हैं। यह कार्य सावन के महीने की कृष्णपक्ष की त्रयोदशी के दिन हुआ करता है। इसी दिन ही महान शिवरात्रि पर्व के रूप में मनाया जाता है। इस महान पर्व पर भक्तजन काँवड लाकर अपने इष्टदेव पर चढ़ाते हैं।
शिव अवतरण : इसके पश्चात् छः महीने तक भगवान शिव कैलाश पर्वत से अवतरण करके धरती पर श्मशान घाट में निवास किया करते हैं। भगवान शिव के धरती पर आने के साथ ही सारे जीव-जन्तु व कीट-पतंग भी धरती पर विचरने लगते हैं। भगवान शिवजी का यह अवतरण हर साल फाल्गुन महीने के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को होता है। यही महान दिन शिव रात्रि के रूप में भक्तों द्वारा बड़ी श्रद्धा से मनाया जाता है। सभी भकक््त-जन पूजा अर्चना करते हैं तथा पूरे दिन का उपवास भी रखते हैं।
पूजा की विधि : महाशिव रात्रि के पर्व पर शिव मन्दिरों की शोभा दर्शनीय होती है। सभी भक्तजन इस दिन "शिवलिंग" पर जल चढ़ाकर भगवान शिव का आशीर्वाद लेना चाहते हैं। इस दिन श्रद्धालु निराहार व्रत रखते हैं। बुद्ध लोग दिन में फल, दूध, मेवे आदि ले लेते हैं। इसके अतिरिक्त भगवान शिव के वाहन “नंदी” की भी इस रात को पूजा व सेवा की जाती है।
निष्कर्ष : महाशिव रात्रि का यह पर्व बहुत महान पर्व है इस दिन गंगा-स्नान का भी विशेष महत्त्व तथा पुण्य है। ऐसा भी विश्वास किया जाता है कि इस दिन भगवान शिवजी ने गंगा के तेज प्रवाह को अपनी जटाओं में धारण करके इस संसार के उद्धार के लिए उसे धीरे-धीरे धरती पर छोड़ा था। इसीलिए प्रत्येक हिन्दू इस पर्व को इतनी श्रद्धा तथा विश्वास से मनाता है।
महाशिवरात्रि हिंदी निबंध PDF
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